घर घर अलख जगायेंगे, सबको बौद्ध बनाएंगे, बुद्ध पूर्णिमा के अवसर पर विचार गोष्ठी का आयोजन

बुद्ध के बताये रास्ते पर चलने से ही मानव कल्याण सम्भव

घर घर अलख जगायेंगे, सबको बौद्ध  बनाएंगे, बुद्ध पूर्णिमा के अवसर पर विचार गोष्ठी का आयोजन

प्रभात फेरी के साथ लगे नारे

राजेश तिवारी ( क्राइम  ब्यूरो) 

सोनभद्र/उत्तर प्रदेश-

त्रिविध पावनी बुद्ध पूर्णिमा अर्थात जन्म, ज्ञान प्राप्ति व महापरिनिर्वाण का पवित्र त्योहार आज बैशाख पूर्णिमा/बुद्ध पूर्णिमा के दिन धूमधाम व हर्षोउल्लास के साथ मनाया गया। सर्वप्रथम तथागत बुद्ध विहार निकट रेलवे फाटक राबर्ट्सगंज सोनभद्र में 8.30 बजे पूज्य भन्ते आनंद के द्वारा बुद्ध वंदना, त्रिशरण एवं पंचशील ग्रहण कराने के बाद सुबह 9.30 बजे सैकड़ो धम्मं बंधुओं के साथ धम्मं प्रभातफेरी/ शोभायात्रा तथागत बुद्ध विहार से प्रारम्भ होकर राबर्ट्सगंज नगर में रेलवे क्रासिंग से धर्मशाला चौराहा से चंडी तिराहा से बढ़ौली चौराहा से मिशन अस्पताल होते हुए बढ़ौली चौराहा से कचहरी होते हुए महिला थाना पुनः बुद्ध विहार पहुँची।

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प्रभात फेरी में धम्मं घोष व नारे के साथ " गौतम बुद्ध का है पैगाम, मानव मानव एक समान। भगवान बुद्ध की करुणा हो, करुणा हो, करुणा हो ।भारत की है जिससे शान, विजयी विश्व अशोक महान। घर घर अलख जगायेंगे, सबको बौद्ध बनाएंगे।" बुद्ध विहार पर आयोजित विचार गोष्ठी कार्यक्रम में महिला पुरुष व बच्चों ने बढ़चढ़कर हिस्सा लिया।

जयंती समारोह को संबोधित करते हुए रामधारी संजीवैया व सुमन्त सिंह मौर्य ने कहा कि बुद्ध का धम्मं एक ऐसा मार्ग है जो सर्व समाज को एक समान जीने का अधिकार देता है और मानवता को स्थापित करता है एवं भगवान बुद्ध के बताये गए मार्ग पर चलकर देश दुनिया मे व्याप्त भ्रष्टाचार, हिंसा, व्यभिचार, अत्याचार का जो माहौल है उससे मुक्त किया जा सकता है।

देश विदेश में सुरक्षा शांति का माहौल कायम हो सकता है एक सभ्य समाज के निर्माण के लिए भगवान बुद्ध ने पंचशील का पालन करते हुए अष्टांगिक मार्ग रूपी रास्ता दिए जिसका पालन करके एक मनुष्य एक समाज शीलवान बनता है जिससे लोग सुखी व समृद्धि होते है लेकिन ज्यो ही हम पंचशील के रास्ते से दूर होते है तो शीलवान समाज से अश्लील समाज हो जाता है इसलिए समाज को हिंसा, नफरत, झूठ, चोरी, घूसखोरी, व्यभिचार, नशाखोरी व पर्यावरण असंतुलन जैसी महामारी से मुक्त करने के लिए बुद्ध का रास्ता अपनाना ही पड़ेगा।

अध्यक्षता कर रहे गोपाल जी निराला व अनिल सिंह पटेल ने कहा कि बुद्ध अपने आपको मार्ग बताने वाला बताये आपको उनके रास्ते खुद चलना पड़ेगा तभी आपका मंगल होगा। इसी क्रम में श्याम सुन्दर प्रजापति व राजकुमार सोनकर ने कहा कि बुद्ध का मार्ग बहुत सरल व लोक कल्याण का मार्ग है उसे अपनाकर ही हम अपना जीवन मंगल बना सकते है। कार्यक्रम के सचिव उमेश मौर्य ने सबका आभार व्यक्त किया।

संचालन जे. ई नरेन्द्र प्रताप ने किया। गोष्ठी में अनिल कुमार सिंह, सुनील कुमार सिंह, राजकुमार मौर्य, चंद्रेश कुमार, माता प्रसाद सिंह, तेजप्रताप मौर्य, लक्ष्मी नारायण पटेल, राजेश कुमार प्रेमी, नंदकिशोर मास्टर, एड राजेश कुमार, पवित कुमार, एडवोकेट उदय राज मौर्य, राजकुमार बौद्ध, डॉ भागीरथी मौर्य, डॉ ओ पी मौर्य, अनिता पटेल, रानी सिंह,अनिता मौर्य, शिवानन्द, रमेश सिंह इत्यादि उपासक एवं उपसिकायें व धम्मं बंधु लोग उपस्थित रहे।

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