मिल्कीपुर: मुंह एवं खुरों में छाले पड़ना खुरपका-मुंहपका रोग की पहचान

मिल्कीपुर- अयोध्या।

 

आचार्य नरेंद्र देव कृषि एवं प्रौद्योगिक विश्वविद्यालय कुमारगंज के पशु सूक्ष्म विभाग एवं पशु लोक स्वास्थ्य विभाग द्वारा राष्ट्र को खुरपका- मुंहपका रोग मुक्त बनाने के लिए जागरूकता सप्ताह का आयोजन किया गया। कार्यक्रम का आयोजन विकास खंड आमानीगंज अंतर्गत बिरौलीझाम गांव में कृषि विवि के कुलपति डा. बिजेंद्र सिंह के दिशा-निर्देशन में किया गया।

पशु सूक्ष्म जीव विज्ञान विभाग के विभागाध्यक्ष डा. आर. के जोशी ने बताया कि यह एक प्रकार का वायरल संक्रमण है जो तेजी के साथ पशुओं में फैलता है। उन्होंने बताया कि इस बीमारी से बड़े पशुओं में मृत्यु दर कम होता है लेकिन छोटे पशुओं को इस बीमारी की चपेट में आने से मृत्यु भी हो सकती है। पशुओं के मुंह व खुरों में छाले एवं घाव बनना इस बीमारी का प्रमुख लक्षण है।


डा. नमिता जोशी ने बताया कि इस बीमारी से पशु शारीरिक रूप से कमजोर हो जाते हैं और दुग्ध उत्पादन में काफी कमी आ जाती है। पशुपालकों को आर्थिक क्षति बहुत अधिक होती है क्योंकि इसमें पशुओं का आयात और निर्यात नहीं हो पाता है। इसी क्रम में डा. विभा यादव एवं डा. सत्यव्रत सिंह ने बताया कि इस वायरस से बचाव के लिए गाय को संक्रमित जानवरों के झुंड में न रखें।

 

संक्रमित जानवर का जूठा घास एवं जूठा पानी नहीं पीने की सलाह दी। कार्यक्रम को सफल बनाने के लिए छात्रों द्वारा पोस्टर प्रतियोगिता भी आयोजित की गई। इस दौरान गांव के 62 पशुपालकों एवं पशुपालन महाविद्यालय के 32 छात्र-छात्राओं ने हिस्सा लिया।

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