भ्रष्टाचार के आगमें जल रहा है बस्ती जिला भ्रष्टाचार की आग कब बुझेगी अधिकारियों की कुंभकरण नित कब टूटेगी

 विकास राजस्व और पुलिस विभाग स्वास्थ्य विभाग विभाग में जमकर हो रहा है भ्रष्टाचार

भ्रष्टाचार के आगमें जल रहा है बस्ती जिला भ्रष्टाचार की आग कब बुझेगी अधिकारियों की कुंभकरण नित कब टूटेगी

शिकायत के बाद भीनहीं कर रहे हैं जिम्मेदार अधिकारी कार्रवाई

बस्ती।
 
बस्ती जिले में भ्रष्टाचार दीमक की तरह जिले में पांव प्रसार लिया है जो जिले को छोड़ प्रदेश को भी खोखला बना देगी जिम्मेदार अधिकारी दीमक की तरह जिले का विकास का धन खा रहे हैं चाहे वह राजस्व विभाग हो या विकास विभाग हो या फिर सिंचाई विभाग हो या पीडब्ल्यूडी विभाग हो किसी विभाग हो इन सब विभागों सबसे बड़ा विभाग पुलिस का है
 
जो की बिना पैसा लिए गरीबों का फिर नहीं लिखा जाता है पुलिस विभाग में झूठ को सच बनाया जाता है और सच को झूठ बनाया जाता है अगर आपके पास पैसा है तो पुलिस विभाग में फर्जी एफ आई आर लिखा जाता है आओ चलते हैं सबसे बड़ा विभाग राजस्व विभाग जो जिले का नक्शा बदलने में राजस्व विभाग के कर्मचारी लगे हुए हैं राजस्व विभाग के लेखपाल को अगर रुपया मिल गया तो दूसरे के जमीन को दूसरे के नाम करने में नहीं छुपाते हैं यहां तक मंदिर और विद्यालय की जमीन को भी बेचने में कसर नहीं छोड़ते हैं शिकायत के बावजूद भी उसे पर फर्जी रिपोर्ट लगाकर निस्तारण कर दिया जाता है
 
तहसील के जिम्मेदार अधिकारी उसे पर अपनी हस्ताक्षर भी बना देते हैं औरआई जीआरएस फर्जी रिपोर्ट लगाकर निस्तारण कर देते हैं ताजा मामला एक साल से लेखपाल द्वारा विद्यालय की जमीन पर फर्जी रिपोर्ट लगा रहे हैं जिले जिला अधिकारी से लेकर मंडला आयुक्त तक आईजीआरएस को फर्जी रिपोर्ट की झड़ी लगा दिया लेकिन फिर भी तहसील की जिम्मेदारी अधिकारी कुंभकरण की नींद में सो रहे हैं वह रे उत्तर प्रदेश के बस्ती जिले के अधिकारी इस तरह से मंदिर और विद्यालय के जमीन पर पैसा लेकर कब्जा दिलवाने का काम तहसील प्रशासन की बिना मिली भगत के लेखपाल नहीं करवा सकता है l
 
सबसे गंभीर समस्या उत्तर प्रदेश के विकास विभाग की है बस्ती जिले के 14 ब्लॉकों में किसके आदेश पर बिना कार्य किया भुगतान किया जा रहा है शिकायत के बावजूद खंड विकास अधिकारी जांच के नाम पर मोटी रकम लेकर फर्जी रिपोर्ट लगा देते हैं मिलकर दबाव बनाकर सुलह समझौता करने का प्रयास करते हैं मनरेगा का फर्जी हाजिरी और लूट रास्ता अधिकारियों द्वारा बताया गया जो 40% प्रधान जी लेते हैं और साथ परसेंट में जिले से लेकर के खंड विकास अधिकारी भी लेते हैं और मजदूरों को कार्य पर लगाने की जहमत नही नहीं उठाते हैं प्रधान जी ऐसा सिस्टम बना दिया है अधिकारियों ने की लूट का रास्ता साफ हो गया है
 
फर्जी फोटो और पुराने कार्य का फोटो लगाकर नया भुगतान लिया जा रहा है विकास के नाम पर जमकर हो रही है ल जिले से लेकर ग्राम पंचायत तक के अधिकारियों भ्रष्टाचार की गंगा में डुबकी लगा रहे हैं इन्हें जरा सी खौफ नहीं है की कभी जांच में गलत पाए गए तो क्या हाल होगा जनाबे अली वही कहानी बनेगी भ्रष्टाचार में संलेख सबसे बड़ा ब्लॉक बस्ती सदर बहादुरपुर कुद्रहा दुबौलिया रामनगर गौर परशुरामपुर विक्रमजोत कप्तानगंज बनकटी सबसे बड़ा और भ्रष्टाचार का हरैया यहां से ही भ्रष्टाचार की पटकथा लिखी गई थी जिसमें कई सचिव के ऊपर एफ आईआर तक  हुए थे और जेल भी गए थे लेकिन आज भी उससे ज्यादा भ्रष्टाचार हो रहा है। जिले के जिला अधिकारी आईजीआरएस की बैठक करके अपनी पीठ थपथपाते हैं की आईजीआरएस में बस्ती वन नंबर पर है
 
लेकिन जमीनी हकीकत कुछ और बयां कर रही फर्जी रिपोर्ट के आधार पर बिना जांच किया आईजीआरएस को निस्तारण कर दिया जा रहा है क्या जिले के अधिकारी इस बात को ध्यान देते हैं नहीं क्योंकि उनके पास समय नहीं है या उन्हें भी झूठी रिपोर्ट के आधार पर उनकी मोहर लग जाती लेकिन सच्चाई कुछ और बयां करती है क्या जिले में सच्चाई को दबाया जा रहा है झूठ का बोलबाला चल रहा है वह है उत्तर प्रदेश योगी के जिम्मेदार अधिकारी भ्रष्टाचार मिटाने आए थे और भ्रष्टाचार की गंगा बह रही है इसे रोकने वाला कोई जिम्मेदार अधिकारी कदम नहीं उठा रहा  ऐसा प्रतीत हो रहा है सच्चाई देखने की हिम्मत नहीं है जिले के अधिकारियों में क्योंकि हर संगठन एकत्रित होकर जिला अधिकारी का घेराव करने में लग जाते हैं

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