पंचायती राज विभाग की खुली पोल भ्रष्टाचार की भेंट चढ़ गया स्वच्छ भारत मिशन

पंचायती राज विभाग की खुली पोल भ्रष्टाचार की भेंट चढ़ गया स्वच्छ भारत मिशन

रायबरेली भ्रष्टाचार में खाकी के बाद दूसरे स्थान पर पंचायती राज विभाग प्रदेश की योगी सरकार विकास के लाख दावे कर रही हो लेकिन पंचायती राज विभाग मे जिले की लगभग सभी ग्राम पंचायतों में विकास के नाम पर सिर्फ खानापूर्ति करके करोड़ों रुपयों की हेराफेरी की गई है सरकार के द्वारा दिए गए रुपयों

 रायबरेली भ्रष्टाचार में खाकी के बाद दूसरे स्थान पर पंचायती राज विभाग प्रदेश की योगी सरकार विकास के लाख दावे कर रही हो लेकिन पंचायती राज विभाग मे जिले की लगभग सभी ग्राम पंचायतों में विकास के नाम पर सिर्फ खानापूर्ति करके करोड़ों रुपयों की हेराफेरी की गई है सरकार के द्वारा दिए गए रुपयों का अगर सही से उपयोग किया जाता तो महज 10 वर्षो के अंदर ग्राम पंचायत में नाली, नाला खड़जा, आवास जैसी लगभग सारी जरूरतें लोगों की पूरी हो सकती है लेकिन शासन द्वारा प्राप्त रुपयों का पंचायती राज विभाग के अधिकारियों से लेकर ब्लॉक एवं प्रधानों की जेबों में 70 फ़ीसदी रुपयों का बंदरबांट कर लिया जाता है

पंचायती राज विभाग की खुली पोल भ्रष्टाचार की भेंट चढ़ गया स्वच्छ भारत मिशन

प्रदेश सरकार का विकास सिर्फ कागजों पर चल रहा है और गांवों की स्थिति बदहाल है पंचायती राज विभाग के भ्रष्टाचार की स्थिति जानने के लिए  हिंदी दैनिक स्वतंत्र प्रभात की टीम ने जिले की कई ग्राम पंचायतों का भ्रमण किया और विकास की जमीनी हकीकत देखी तो पता चला कि कहीं पर सफाई कर्मी नदारद है तो कहीं-कहीं पर सफाई कर्मियों की  मनमानी के चलते गांवों में गंदगी का भरमार है   गंदगी से ग्रामीण किसी भी समय संक्रामक बीमारियों की चपेट में आ सकते हैं लेकिन ग्राम प्रधान व जिम्मेदारी इससे अनजान बने हुए हैं

जर्जर बारात एवं पंचायत  भवन पेयजल की  बदहाल दशा

ग्राम पंचायतों में अंबेडकर सामुदायिक केंद्र ,पंचायत भवन, बारात घर ,सहित ग्रामीणों की सुविधा के लिए बनवाई गई सरकारी इमारतों की सही देखरेख मरम्मत रंगाई पुताई ना होने के चलते लाखों रुपयों की लागत से बनी यह सरकारी इमारतें खंडहर में तब्दील होती नजर आ रही है प्रदेश की योगी सरकार के विकास के सारे वादे खोखले नजर आ रहे हैं गांव के विकास के विषय में संवाददाता को ग्रामीणों ने बताया कि प्रदेश की योगी सरकार में गांव में कोई नया विकास ना के बराबर हुआ है लेकिन विकास के नाम पर सरकारी रुपयों का भ्रष्टाचारियों में बंदरबांट जमकर हुआ है जिले की कई ग्राम पंचायतों में बने बारातघर, पंचायत भवन, मिनी सचिवालय, अंबेडकर सामुदायिक  केंद्र सहित लगभग सभी सरकारी इमारतें सही देखभाल ना होने के कारण टूटने की कगार पर है ग्रामीणों ने सरकारी इमारतों सहित इंडिया मार्का हैंड पंप की सही देखभाल ना होने के चलते सैकड़ों हैंडपंपों में जंग लग गई है और ग्रामीणों को पानी के लिए काफी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है।

सिर्फ नाम बदलना नहीं है विकास

जिले की तमाम ग्राम पंचायत  के ग्रामीणों ने बताया कि सरकार पूर्व की सरकारों द्वारा बनवाई गई इमारतों नाली, नाला खड़ंजा आदि को ही अगर सही से उनकी देखभाल रंगाई पुताई मरम्मत  ही करवा पाती तो भी इनकी हालत इतनी जर्जर नहीं होती लेकिन प्रदेश व केंद्र की सरकार ने सिर्फ पूर्व की सरकारों के द्वारा कराए गए कार्यों का नाम बदलकर विकास के नाम पर अपनी नाकामी छुपाने में ही लगी रही है गुस्से में ग्रामीणों ने कहा कि योगी जी नाम बदलने से ही अगर विकास हो जाता है तो देश का नाम अमेरिका, चीन, जापान क्यों नहीं कर देते

इन ग्राम पंचायतों की हालत ज्यादा खराब

साफ सफाई नाली, नाला ,खड़ंजा निर्माण सहित विकासखंड सतांव  बछरावां , शिवगढ़, महाराजगंज की इन ग्राम पंचायतों की स्थिति ज्यादा दयनीय है सतांव   विकासखंड की ग्राम पंचायत बरदर  कृष्ण पुर ताला कोंसा सतांव लोहड़ा आदि गांवों की साफ सफाई नालियों में गंदगी व खड़ंजा सभी बदहाली की अंशू बहा रहे वहीं  बछरावां बिकाश खंड की ग्राम पंचायतें साबहादुर नगर सेहगों , कुंडौली, रामपुर मोहिउद्दीनपुर,  हरदोई ,राघोपुर,तिलेंडा, रानीखेड़ा,  एवं शिवगढ़ विकासखंड की  ग्राम पंचायत खजुरों, भौसी ,गूढ़ा ,नारायणपुर,  बेड़ारू ,पलिया,  देहली ,बैंती , जगदीशपुर ,जड़ाऊ गंज, अछई, कसना, आदि ग्राम पंचायतों की साफ सफाई नाली नाला व खड़ंजा की स्थिति ज्यादा बदहाल है इन ग्राम पंचायतों में नियुक्त सफाई कर्मी अपनी मनमानी से गांव की कभी सफाई नहीं करते जिसके कारण गांव में गंदगी से नालियां चोक हैं साफ सफाई ना होने के कारण कभी भी ग्रामीण संक्रामक बीमारी की चपेट में आ सकते हैं 
राजेश कुमार ब्यूरो रिपोर्ट रायबरेलीसर यह खबर हमारे नाम से लगाई जाए

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