कवारेन्टीन किये गए लोगो को नही मिल रहा खाना पानी

कवारेन्टीन किये गए लोगो को नही मिल रहा खाना पानी

ग्राम प्रधान पर लगाया उदाशीनता का आरोप बाराबंकी कोरोना वायरस महामारी से बचाव के लिए सरकार हर संभव प्रयास कर रही उसके साथ ही गैर प्रान्तों में फॅसे लोगो को भी लाया जा रहा है और उन्हें जाँचोउपरांत 14 दिनों के लिए जिले के कवारेन्टीन सेंटरों में रखा गया है और उनके खाने पीने की

ग्राम प्रधान पर लगाया उदाशीनता का आरोप

बाराबंकी

कोरोना वायरस महामारी से बचाव के लिए सरकार हर संभव प्रयास कर रही उसके साथ ही गैर प्रान्तों में फॅसे लोगो को भी लाया जा रहा है और उन्हें जाँचोउपरांत 14 दिनों के लिए जिले के कवारेन्टीन सेंटरों में रखा गया है और उनके खाने पीने की पूरी व्यवस्था संबंधित ग्राम प्रधानों के जिम्मे है लेकिन ग्राम प्रधान अपनी जिम्मेदारी से मुह फेरे हुए है और प्रसाशन के आदेश को दरकिनार कर मनमानी करने में लगे हुए है ।

कवारेन्टीन किये गए लोगो को नही मिल रहा खाना पानी

पहला मामला है : ब्लाक हरख के ग्राम पंचायत पारादीपू के प्राथमिक विद्यालय रसूलपुर का जहाँ पर गैर प्रान्तों से लौटे गाँव के 3 युवकों को कवारेन्टीन में रखा गया है लेकिन उनकी समस्या भी जस की तस है इस विद्यालय में ग्राम प्रधान सतीश चन्द्र वर्मा ने न तो खाने पीने का कोई प्रबंध किया न ही मास्क व सिनेटाइजर उपलब्ध करवा कवारेन्टीन किये गए युवकों ने बताया कि यहाँ जब से हम लोग यहाँ आये तब से कोई झांकने तक नही आया है स्कूल में लगे लगे हैण्डपम्प से प्यास बुझाते है खाना घर से मंगवा कर खाना पड़ता है जब ग्राम प्रधान से कहो तो वो अपनी जिम्मेदारी से पल्ला झाड़ लेते है और कहते है हम लोगों की खाने पीने की कोई जिम्मेदारी नहीं है।


मुख्य विकास अधिकारी मेधा रूपम ने पहले ही सख्त आदेश जारी कर रखे है कि कवारेन्टीन किये गए लोगो के खाने पीने और देखरेख की पूरी जिम्मेदारी संबंधित ग्राम प्रधान की है ।
बावजूद उसके ग्राम प्रधान सतीश चन्द्र वर्मा मुख्य विकास अधिकारी के आदेश की परवाह न करते हुए मनमानी कर रहे और कवारेन्टीन हुए लोगो की समस्याए खत्म होने का नाम नही ले रही है ।

कवारेन्टीन किये गए लोगो को नही मिल रहा खाना पानी

दूसरा मामला है : ब्लाक मसौली के ग्राम पंचायत मसौली के प्राथमिक विद्यालय मस्ताननगर का जहा पर गैर प्रान्तों से लौटे तकरीबन आधा दर्जन मजदूरों को कवारेन्टीन में रखा गया है लेकिन उनकी समस्या भी जस की तस है इस विद्यालय में ग्राम प्रधान मसौली ने न तो साफ सफाई कारवायी है ना कि खाने पीने का कोई प्रबंध किया कवारेन्टीन किये गए लोगो ने बताया कि यहाँ जब से उन्हें लाया गया है तब से कोई झांकने तक नही आया है स्कूल में लगे लगे हैण्डपम्प से प्यास बुझाते है खाना घर से मंगवा कर खाना पड़ता है जब ग्राम प्रधान से कहो तो वो अपनी जिम्मेदारी से पल्ला झाड़ लेते है ।


मुख्य विकास अधिकारी मेधा रूपम ने पहले ही सख्त आदेश जारी कर रखे है कि कवारेन्टीन किये गए लोगो के खाने पीने और देखरेख की पूरी जिम्मेदारी संबंधित ग्राम प्रधान की है ।
बावजूद उसके ग्राम प्रधान मुख्य विकास अधिकारी के आदेश की परवाह न करते हुए मनमानी कर रहे और कवारेन्टीन हुए लोगो की समस्याए खत्म होने का नाम नही ले रही है ।

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