vishwashanti ka navoday
संपादकीय  स्वतंत्र विचार 

वेद–उपनिषदों के आलोक में प्रदीप्त होता वैश्विक आकाश,अयोध्या से विश्वशांति का नवोदय

वेद–उपनिषदों के आलोक में प्रदीप्त होता वैश्विक आकाश,अयोध्या से विश्वशांति का नवोदय वेद, उपनिषद और पुराणों का ज्ञान भारतीय चेतना का वह दिव्य आलोक है जिसने सहस्राब्दियों से संपूर्ण मानवता को दिशा दी है। इन प्राचीन ग्रंथों में निहित ऊर्जा, तत्वज्ञान और आध्यात्मिक शक्ति केवल धर्मग्रंथ नहीं, बल्कि मानव सभ्यता के प्रकाशस्तंभ...
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