मौसम बदलने पर अधिकांश मौतों का कारण हैं संक्रामक बीमारियां – डॉ लक्ष्मी सिंह

मौसम बदलने पर अधिकांश मौतों का कारण हैं संक्रामक बीमारियां – डॉ लक्ष्मी सिंह संक्रामक बीमारियों के लक्षण एवं बचाव उमेश सिंह (ब्यूरो चीफ ) भदोही । संक्रामक रोग किसी को भी और कभी भी हो सकते हैं। इन रोगों के फैलने का सबसे अनुकूल मौसम वर्षा का है या उसके बाद का। इस समय

मौसम बदलने पर अधिकांश मौतों का कारण हैं संक्रामक बीमारियां – डॉ  लक्ष्मी सिंह

  • संक्रामक बीमारियों के लक्षण एवं बचाव

उमेश सिंह (ब्यूरो चीफ )

भदोही ।

संक्रामक रोग किसी को भी और कभी भी हो सकते हैं। इन रोगों के फैलने का सबसे अनुकूल मौसम वर्षा का है या उसके बाद का। इस समय हर तरफ सड़न व सीलन होती है। इसलिए रोगाणु विषाणु खूब पनपते हैं। लोग मौसम की मार से त्रस्त हो जाते हैं इसलिए शारीरिक रोग प्रतिरोधक क्षमता भी कम हो जाती है।

फल स्वरुप अधिकांश मौतें संक्रामक बीमारियों के कारण ही होती हैं। इसका एक बड़ा कारण रहन-सहन के खराब हालात जिनमें दूषित पेयजल, मकान के आसपास तथा अंदर जलभराव, एवं गंदगी के साथ साथ बासी भोजन का प्रयोग तथा सड़े गले फलों तथा बाजारू खुली खाद्य सामग्री का सेवन प्रमुख रूप से शामिल है।

जलभराव एवं गन्दगी मे ही मच्छरो का प्रकोप बढता है ऐसे में जुकाम, बुखार, मलेरिया, टाइफाइड सहित लोग डेंगू जैसी खतरनाक बीमारी की चपेट में आ जाते हैं फल स्वरूप सही समय पर और सही उपचार न मिलने के कारण काल के गाल में समा जाते हैं।

संक्रामक बीमारियों के लक्षण एवं बचाव के उपाय बताते हुए मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ लक्ष्मी सिंह ने बताया कि संक्रामक बीमारी के लक्षण मिलते ही सही समय पर सही उपचार लोगों को काल के गाल में समाने से बचा सकता है जिसके लिए मरीज को चाहिए कि तत्काल अपने नज़दीकी सीएचसी एवं पीएचसी मे कार्यरत डॉक्टरों को दिखा कर निशुल्क उपचार कराएं।

  • संक्रामक बीमारी के लक्षण

1- तेज बुखार आना  2- जी मिचलाना तथा पेट में दर्द 3- पूरे शरीर में दर्द 4- आंखों में दर्द तथा बदन में ऐठन 5- मुंह सूखना एवं बार-बार प्यास लगना तथा घबराहट होना आदि संक्रामक बीमारी के लक्षण हैं।

  • संक्रामक बीमारी से बचाव

1- पानी साफ सुथरा एवं उबालकर ही पिए।

2- मच्छरदानी का प्रयोग करें। 3- फुल आस्तीन की शर्ट एवं जूते मोजे पहनकर बदन को ढक कर रखें। 4- अपने मकान एवं उसके आसपास जलभराव तथा गंदगी न रहने दें। 5- बासी भोजन खासकर चावल एवं बाजारू खाद्य सामग्री का कतई सेवन न करें। 6- बुखार आने पर केवल पैरासिटामोल टेबलेट का ही प्रयोग करें। एनाल्जेसिक कोई भी दवा कतई न ले आदि सावधानियों से संक्रामक रोगों पर काबू पाया जा सकता है।  

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