सामुदायिक शौचालय व पंचायत भवन की स्थिति निर्माण कार्य पूरा होने से पहले ही बद से बदतर

जिसका निर्माण कार्य भी अधर में ही लटका हुआ है


भीटी अंबेडकरनगर। सरकार की महत्वाकांक्षी योजनाओं में भ्रष्टाचार के चलते उनका काम अभी तक पूरा नहीं हो पाया है। अधिकांश पैसा भी निर्माण कार्य का निकल चुका है। इसके बावजूद भी अभी तक निर्माण पूरा नहीं हो पाया है।

 भीटी ब्लॉक में बने पंचायत भवन व सामुदायिक शौचालय की स्थिति बहुत ही खराब है कहीं-कहीं अभी तक सामुदायिक शौचालय का कपाट नहीं खुला सका है और उसका अधिकांश पैसा भी पूर्व प्रधान व सेक्रेटरी के द्वारा निकाल  लिया गया है।

 निर्माण कार्य को पूरा कराने के लिए लगातार नवनिर्वाचित ग्राम प्रधानों पर जोर दबाव दिया जा रहा है। लेकिन सामुदायिक शौचालय व पंचायत भवन के निर्माण के लिये आई धनराशि में से अधिक राशि निकाल लिए जाने के कारण व घटिया सामग्री से निर्माण के चलते कोई भी ग्राम प्रधान अधूरा पड़े सामुदायिक शौचालय व पंचायत भवन को बनवाने को तैयार नहीं है। आखिर इतना बड़ा भ्रष्टाचार प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के स्वच्छ मिशन अभियान में किया गया है।

वहीं अगर ब्लॉक के अंतर्गत पंचायत भवन निर्माण की बात करें तो उसने भी कम भ्रष्टाचार पूर्व प्रधान व सेक्रेटरी के द्वारा नहीं किया गया है। ग्राम पंचायत बसोहरी में पंचायत भवन निर्माण पूरा होने से पहले ही उनकी दीवारो में दरार व छत के बीम में भी कई स्थानों पर दरार पड़ गई है।

वहीं अगर बात करें रानीवा कर्मजीतपुर का तो वहां भी पंचायत भवन बनने से पहले ही खंडहर में तब्दील हो गया है। घटिया सामग्री से निर्माण के चलते जगले खिड़की टूटकर जमीन पर धाराशाही हो गए हैं तथा उसकी बरामदे की छत भी मानक के अनुरूप बहुत कम मोटाई में ढलाई करा दिया गया है। जिसका निर्माण कार्य भी अधर में ही लटका हुआ है। जिसके निर्माण कार्य को पूरा कराने के लिये हैंडओवर मौजूदा ग्राम प्रधान तैयार नही हो रहे है।

जिसका एकमात्र कारण है की पंचायत भवन निर्माण के लिए आया अधिकांश पैसा निकाल लिया गया है और घटिया सामग्री से निर्माण कार्य शुरू करा दिया गया था और अभी तक निर्माण कार्य पूरा नहीं हो सका है हैंडोवर लेने पर संबंधित ग्राम प्रधान का निर्माण की पूरी जिम्मेदारी हो जाएगी। और उन्हें भविष्य में कभी जांच होने पर जेल की राह देखनी पड़ेगी। जिसके चलते ग्राम प्रधान हैंडोवर लेने से कतरा रहे हैं

फिर हाल उनके ऊपर लगातार दबाव बनाकर निर्माण कार्य पूरा कराने के लिए कहा जा रहा है। वही बात करें ग्राम पंचायत बेला में बने सामुदायिक शौचालय की तो उसमें भी दरवाजे टूट कर अलग पड़े हुए हैं टाइल्स भी टूटी-फूटी नजर आ रही है।

 ब्लॉक के अधिकांश सामुदायिक शौचालय पर अभी भी पानी की समुचित व्यवस्था नहीं है ग्रामीण शौच के लिए बाल्टी से पानी ले जाने को मजबूर हैं। भीटी ब्लाक के अंतर्गत अगर जांच की जाए तो अधिकांश सामुदायिक शौचालय व पंचायत भवन की स्थिति निर्माण कार्य पूरा होने से पहले ही बद से बदतर हो गई है और अभी तक बहुत सारे सामुदायिक शौचालय व पंचायत भवन का निर्माण अधर में लटका हुआ है। आखिर इतने बड़े भ्रष्टाचार का जिम्मेदार कौन है।

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