नवीन मंडी समिति तुलसीपुर में ध्वस्त दिखा सफाई व्यवस्था
सचिव व ठेकेदार के मिलींभगत से चल रहा भ्र्ष्टाचार का खेल
बलरामपुर/तुलसीपुर-
एक तरफ सरकार स्वक्ष भारत मिशन अभियान को लेकर स्वच्छता पखवाड़ा मना विभागीय जिम्मदार खुद मिया मिट्ठू बने हुए है । जबकि अगर दावों के साथ जमीनी सच्चाई की बात की जाय तो यह मौसम सिर्फ कागजो में गुलाबी है बाकी धरातल पर जो तस्वीर उभर कर आरही वह झूठे दावों की सच्चाई बताने के लिये पर्याप्त है। और अगर विकास खण्डों के सफाई कार्य की भौतिक जांच निस्पक्ष ढंग से हो जाये तो न जाने कितनों की टोपी उतरना निश्चित है।
ताजा मामला तहसील तुलसीपुर के अंतर्गत नगरीय क्षेत्र में बने किसान मंडी समिति की है जंहा सफाई व्यवस्था को लेकर ठेकेदार भी है सफाई कर्मी भी है उसके बाद सफाई का यह आलम कि स्वक्षता भी शर्मसार हों जाये ।मंडी समिति में हाल तो यह है कि जगह जगह कूड़े और कचरे का ढेर लगा हुआ है जिसके दुर्गंध से स्थानीय व्यापारियों का बुरा हाल तो वही मंडी आने वाले व्यापारियों और किसानों के लिए मंडी नही नर्क बना हुआ है तो वही स्थानीय लोग नरकीय जीवन जीने को मजबूर है । वही मंडी समिति के जिम्मेदार अधिकारी सचिव के कार्यशैली पर बड़े सवाल उतपन्न हो रहे है जो जांच का विषय है ।
कृषि उत्पादन मंडी समिति तुलसीपुर में तैनात कंप्यूटर ऑपरेटर केदारनाथ कश्यप ने बताया कि मैं क्या करूं जब मंडी समिति सचिव ओम प्रकाश शुक्ला नहीं चाहते हैं कि व्यवस्था सही हो । जबकि ठेकेदार को टेंडर में चार कर्मचारियों की लिखा पढ़ी दर्ज की गई परंतु एक ही कर्मचारी काम करता है। जबकि मंडी समित तुलसीपुर द्वारा चारों कर्मचारियों का पैसा भुगतान करने की बात सामने आ रही है ।लेकिन व्यापक भ्रष्टाचार के चलते नवीन कृषि उत्पादन मंडी समिति तुलसीपुर कूड़े का ढेर बन चुका है जहां देखो वहां गंदगियां फैली हुई हैं।
इस संबंध में जब सचिव कृषि उत्पादन मंडी समिति के मोबाइल पर फोन किया गया तो उनका फोन बंद मिला। व्यापारियों ने बताया कि हम लोग इसकी शिकायत सभापति उपजिला अधिकारी तुलसीपुर से करके मंडी समिति को स्वच्छ एवं सुंदर कराए जाने का प्रयास करेंगे।
वही अगर सूत्रों की बात की जाय तो कृषि उत्पादन मंडी समिति के सफाई ठेकेदार यह कहते घूमते हैं कि मेरा कोई कुछ नहीं बिगाड़ सकता । वही मंडी समिति के सफाई ठेकेदार का कहना है कि चाहे जिससे कहो हम अपने मनमाने तरीके से ही काम करेंगे।
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