ड्रैगन का खतरनाक फ्यूचर प्लान: भारत के खिलाफ पानी को बनाया हथियार
स्वतंत्र प्रभात
चीन इस डैम के पास एक हवाई अड्डा बनाने की भी योजना बना रहा है ताकि चीनी वायु सेना की आवाजाही में मदद मिल सके। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक सैटेलाइट तस्वीरों से खुलासा हुआ है कि चीन माबजा जांगबो नदी पर नया बांध बना रहा है। ANI की रिपोर्ट के मुताबिक यह बांध जिस जगह बन रहा है उससे कुछ किलोमीटर की दूरी पर ही भारत-नेपाल-चीन का बॉर्डर है।
इंटेलीजेंस रिसर्चर डेमियन साइमन ने अपने ऑफिशियल ट्विटर हैंडल पर इसे लेकर कुछ तस्वीरें शेयर की हैं। डेमियन साइमन ने दावा किया है कि चीन इस डैम के जरिए इस पूरे इलाके के पानी को कंट्रोल करने की कोशिश में है। जिस जगह यह बांध बन रहा है वहां एक बड़ा जलाश्य है और यहां के पानी पर कंट्रोल करने के लिए चीन इस बांध को तैयार कर रहा है।
Read More IAS Sonia Meena: यह IAS अफसर बन चुकी 'माफियाओं का काल', बिना कोचिंग क्रैक किया UPSC एग्जाम तिब्बत के पठार पर पानी की बडी-बड़ी जलाश्य हैं. चीन इसी पानी पर दावा करता है. यहीं से सिंधु, गंगा, ब्रह्मपुत्र, इरावेड्डी, सलवीन, यांगजे और मेकॉन्ग जैसी बड़ी नदियों का प्रवाह होता है। ये नदियां भारत, पाकिस्तान, बांग्लादेश, म्यांमार, लाओस और वियतनाम में बहती हैं और इन देशों में सिंचाई और पीने के पानी का बड़ा स्त्रोत हैं। यही वजह है कि चीन इस पर कंट्रोल करने की कोशिश में है।
एक्सपर्ट्स का मानना है कि भारत पर दबाव बनाने के लिए चीन नदियों के पानी को प्रदूषित कर सकता है। इसके बाद पानी भारत के इस्तेमाल के लायक नहीं रह जाएगा। एक रिपोर्ट के मुताबिक 2017 में सियांग नदी का पानी प्रदूषित हो गया था। कुछ समय के लिए पानी इस्तेमाल के लायक नहीं रह गया था जिसका खेती पर भी काफी प्रभाव पड़ा था।

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