उपमहानिरीक्षक के तेवर से थर्राया पुलिस महकमा

उपमहानिरीक्षक के तेवर से थर्राया पुलिस महकमा 3 दिन के अंदर अनैतिक कार्यों में लिप्त दो दरोगा निलंबित। स्वतंत्र प्रभात। प्रयागराज। प्रयागराज में नवनियुक्त पुलिस उपमहानिरीक्षक जिले के कप्तान सर्वश्रेष्ठ त्रिपाठी के भ्रष्टाचार विरोधी तेवर से पुलिस महकमा थर्रा गया है । बताया जाता है कि श्री त्रिपाठी के कार्यभार ग्रहण किए हुए अभी 15

‌उपमहानिरीक्षक के तेवर से थर्राया पुलिस महकमा

‌3 दिन के अंदर अनैतिक कार्यों में लिप्त दो दरोगा निलंबित।

‌ स्वतंत्र प्रभात।

‌ प्रयागराज।

‌ प्रयागराज में नवनियुक्त पुलिस उपमहानिरीक्षक जिले के कप्तान सर्वश्रेष्ठ त्रिपाठी के भ्रष्टाचार विरोधी तेवर से पुलिस महकमा थर्रा गया है ।

‌ बताया जाता है कि श्री त्रिपाठी के कार्यभार ग्रहण किए हुए अभी 15 दिन भी नहीं हुए कि उन्होंने अपने सख्त तेवर दिखाते हुए भ्रष्टाचार के प्रति जीरो टॉलरेंस की नीति पर चलते हुए 3 दिन के अंदर दो दरोगा को अनैतिक कार्यों में लिप्त होने के कारण तत्काल निलंबित कर दिया और जांच बैठा दी ।

‌यहां बता दें कि त्रिपाठी ने कार्यभार ग्रहण करने के बाद ही पुलिस महकमे में जिले के सभी पुलिसकर्मियों को सख्त संदेश दिया था कि यदि कोई थानेदार या थाना इंचार्ज भ्रष्टाचार में लिप्त पाया जाएगा लेन-देन की बात सामने आएगी अथवा किसी प्रकार का अनाचार और कदाचार में लिप्त पाया जाएगा और प्रथम दृष्टया वह उन्हें सही लगेगा तो उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी उसी के तहत पहला मामला उनके सामने खीरी थाने के एक उपनिरीक्षक कमलेश कुमार का आया जहां एक पीड़ित से काम के बदले पैसा मांगने का आरोप आ लगा था और उसका वीडियो भी सोशल मीडिया पर वायरल हो गया था।

‌ उपमहानिरीक्षक के संज्ञान में जैसे ही आया उन्होंने तत्काल उप निरीक्षक को कमलेश कुमार को निलंबित करके विभागीय जांच बैठा दी ।

‌उसी प्रकार से आज शंकरगढ़ के एक उपनिरीक्षक रजनीश कुमार सिंह शराब के नशे में धुत पाए जाने और शराब पीते हुए उनका वीडियो वायरल हुआ जिस पर जिले के कप्तान श्री त्रिपाठी ने उन्हें भी तत्काल निलंबित करते हुए जांच बैठा दी।

‌ 3 दिन के अंदर दो उप निरीक्षकों के निलंबन से पुलिस महकमे में हड़कंप मच गया है और थानों में अब स्थिति यह दिखाई पड़ रही है कि किसी भी पीड़ित व्यक्ति के थाने में जाने पर प्रभारी निरीक्षक हो अथवा उपनिरीक्षक बहुत संभल कर अब सभ्यता से बात करते दिखाई पड़ना शुरू कर दिए हैं।

‌ उल्लेखनीय है कि श्री त्रिपाठी एक बेहद ईमानदार और सख्त छवि वाले पुलिस अधिकारी बताए जाते हैं और लखनऊ में अपने तैनाती के दौरान शासन और मुख्यमंत्री की नजर में उनकी छवि ईमानदार अधिकारी की है। यही कारण है कि मुख्यमंत्री ने उन्हें इलाहाबाद जिले में भ्रष्टाचार के आरोप में निलंबित अभिषेक दिक्षित के स्थान पर सख्त और इमानदार छबि वाले सर्व श्रेष्ठ त्रिपाठी को यहां भेजा ।उनकी कार्यशैली और ईमानदारी की पूरे जनपद में चर्चा शुरू हो गई है।

‌ प्रयागराज ब्यूरो से दया शंकर त्रिपाठी की रिपोर्ट।

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