Global economy dependent on Hindi language
विचारधारा  स्वतंत्र विचार 

हिंदी भाषा पर अवलंबित वैश्विक अर्थतंत्र। हिंदी बनी व्यावसायिक भाषा।

हिंदी भाषा पर अवलंबित वैश्विक अर्थतंत्र। हिंदी बनी व्यावसायिक भाषा। डॉ राजेंद्र प्रसाद ने कहा है कि हिंदी चिरकाल से ऐसी भाषा रही है जिसने मात्र विदेशी होने के कारण किसी शब्द या भाषा का तिरस्कार नहीं किया। और यही तथ्य हिंदी भाषा के गौरव को अत्यंत विशाल तथा विराट...
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