स्वास्थ्य विभाग की मेहरबानी से झोलाछाप डॉक्टर कर रहा इलाज,

 छोटी दुकान में भी रहता है एक बेड का इंतजाम

स्वतंत्र प्रभात
महमूदाबाद-सीतापुर जनपद सीतापुर के नगर महमूदाबाद में स्थित वार्ड इमलिया में अबरार फार्मेसी के नाम से चल रहे क्लीनिक में झोला छाप इसरार नामक व्यक्ति बुखार, पेट दर्द, त्वचा रोग सहित कई गंभीर बीमारियों का इलाज कर रहा है, उत्तर प्रदेश के स्वास्थ्य विभाग के नियमो को धता बताते हुए झोलाछाप इलाज़ कर रहा है। जानकारी करने पर पता चला कि उसके पास डॉक्टर की कोई भी डिग्री नहीं है वह फर्जी तौर पर क्लीनिक पर डॉक्टरी कर रहा है
 
नेशनल मेडिकल काउंसिल (NMC) ने राज्य चिकित्सा परिषदों से एक अधिकारी नियुक्त करने को कहा है जो झोलाछाप डॉक्टरों के खिलाफ कार्रवाई करने के लिए अदालत या किसी अन्य संबंधित प्राधिकारी के समक्ष शिकायत दर्ज करा सकता है। एनएमसी की ओर से 14 जुलाई को जारी एक सर्कुलर में कहा गया है कि एनएमसी अधिनियम, 2019 के प्रावधानों के अनुसार, गैर-पंजीकृत/नामांकित व्यक्ति द्वारा इलाज और चिकित्सा पद्धति का कार्य धारा 34 के तहत दंडनीय अपराध है।
 
महमूदाबाद  के गली-मोहल्लों गांव और शहर की पाश कालोनियों में बुखार उल्टी-दस्त, मलेरिया, डेंगू, दाद-खाज और खुजली के अलावा सांस के गंभीर मरीजों का इलाज झोलाछाप व्यक्ति कर रहे हैं। झोलाछाप डॉक्टर भोले-भाले लोगों की जान से जहां खिलवाड़ कर रहे हैं। वहीं स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों एवं कुछ स्वास्थ्यकर्मियों की मिलीभगत से झोलाछाप लोगों ने कई बड़े हॉस्पिटल तक खोल रखे हैं। जिले में अनुमानित पांच हजार से अधिक झोलाछाप डॉक्टर हैं।
 
बढ़ती गर्मी से संक्रामक रोग तेजी से फैल रहे हैं। ऐसे में गली-मोहल्लों, गांव और शहर की पाश कालोनियों में बुखार, उल्टी-दस्त, मलेरिया, डेंगू, दाद-खाज और खुजली के अलावा सांस के गंभीर मरीजों का इलाज अधिकतर इन्ही झोलाछाप लोगों द्वारा किया जा रहा है। महमूदाबाद के इमलिया मोहल्ले में चल रहे अबरार फार्मेसी में एक बेड का इंतजाम भी है। पड़ताल में पता चला कि संचालक बुखार, पेट दर्द, त्वचा रोग, सांस सहित अन्य गंभीर रोगों का इलाज भी करता हैं। इस फॉर्मेसी के सम्बंध में पता करने पर ज्ञात हुआ कि स्वास्थ्य विभाग में इसका पंजीकरण ही नहीं है।
 
 

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