रेलवे महाप्रबंधक के निर्देशन मे हुई जांच। जांच टीम पर खड़े हो रहे सवाल

स्वतंत्र प्रभात 
 
मनकापुर गोन्डा: पूर्वोत्तर रेलवे महाप्रबंधक के निर्देश पर मनकापुर जं स्टेशन पर विजिलेंस सहित तीन टीमे जांच के लिए पहुंची जिस जांच पर सवाल खड़े होने वाजिब। प्रथम दृष्टया जिस बिन्दु की जांच होनी थी ।जिस पर आरोप छेत्र के लोगो ने सम्बन्धित अधिकारी पर लगाया था वह अधिकारी हर जगह जांच टीम के साथ चिपका रहा।दिलचस्प बात यह है।
 
अतिक्रमण वाले स्थल पर रेलवे का का बुलडोजर चला, फिर उसी जगह पर दुकानो का जमंघट कैसे।जो पुनः जाच का विषय है।सूत्रो के हिसाब से उन्ही अतिक्रमण कर्ता दुकान दारो का बयान दर्ज कर मामले को रफा दफा कर दिया।क्योकि इन्ही स्थलो से कमाई का जरिया बरकरार रहा करता है।भला किसके मजाल है कि जिस स्थल से दुकानदार अपनी कमाई करता हो वो भ्रष्टाचार के विरुद्ध एक शब्द बोल सके यही जांच मे हुआ भी है।
 
जो हास्य प्रद है। दूसरे मुद्दे शुद्ध पेयजल की मशीन भारत सरकार ने यात्रीगण के सुविधा के लिए  लगवाई,  उसे खराब स्थित मे करकर नो यूज की पर्ची चिपकाया गया।क्या इस मशीन पर जांच टीम का ध्यान आकर्षित हुआ नही जो सवालो के घेरे मे पाया जाता है जिसके कारण पानी की बोतले ब्लेक हो रही है।जो कमाई का धंधा है।दुकानदारो के बयान का कोई मतलब नही केवल इसे लीपा पोती की कार्रवाई की ही संज्ञाया दी जा सकती है।
 
इसका सीधे मतलब भ्रष्टाचार तंत्र पर मुहर लगाना।जो भारत सरकार के स्वच्छ व पारदर्शी नीति के बिल्कुल विरूद्ध पाया जाता है।जो महाप्रबंधक के जांच निर्देशो का केवल हवा निकालने का कार्य हुआ है।जो रेलवे महाप्रबंधक के समक्ष संवेदनशील प्रश्न है।

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