माधोटांडा क्षेत्र में दहशत बरकरार, अब पिपरिया संतोष के निकट पहुंचा बाघ

 
पीलीभीत
 
टाइगर रिजर्व से सटे इलाके में बाघों की मौजूदगी किसानों के लिए दहशत का पर्याय बनी हुई है। एक बार फिर पिपरिया संतोष के निकट बाघ देखा गया, जिससे इलाके में दहशत फैल गई। 
 
 माधोटांडा क्षेत्र के सपाह गांव के बाद एक बार फिर डगा और पिपरिया संतोष गांव के निकट बाघ की मौजूदगी से इलाके में दहशत फैल गई। शनिवार रात डगा गांव में आबादी के निकट चहलकदमी करने के बाद बाघ पिपरिया संतोष गांव की सीमा में पहुंच गया। रविवार को सड़क किनारे झाड़ियों में बाघ देखा गया। ग्रामीणों का कहना है की अनुमति मिलने के बाद भी वन विभाग बाघ को पकड़ने के प्रयास नहीं कर रहा है। इससे लोगों में रोष है।
 
 टाइगर रिजर्व से सटे इलाके में बाघों की मौजूदगी किसानों के लिए सिर दर्द बनी हुई है। तीन दिन तक सपहा गांव में बाघ की मौजूदगी देखी गई। शनिवार रात डगा गांव की सीमा में दूसरे बाघ ने दस्तक दे दी। आबादी के निकट चहलकदमी करते देख ग्रामीणों ने शोर शराबा किया। रात भर लोग जागते रहे। इसके बाद बाघ पिपरिया संतोष गांव की सीमा में चला गया। 
 
 रविवार को माधोटांडा खटीमा मार्ग के किनारे की झाड़ियां में बाघ की मौजूदगी देखी गई। करीब आधा घंटा तक बाघ झाड़ियों में बैठा रहा। मार्ग पर यातायात प्रभावित रहा। लोगों ने बाघ की वीडियो भी बनाई। भीड़ बढ़ने के बाद बाघ पास के ही गन्ने के खेत में घुस गया। 
ग्रामीणों का कहना है कि पिपरिया संतोष गांव के निकट घूमने वाले बाघ को पकड़ने की अनुमति की बात कही गई थी, लेकिन फिर भी वन विभाग उसे नहीं पकड़ रहा है। ऐसे में क्षेत्र में कभी भी घटना हो सकती है। रेंजर पियूष मोहन श्रीवास्तव ने बताया कि टीम को निगरानी के लिए लगाया गया है। पगचिन्ह का मिलान कराया जा रहा है
 
 

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