
स्वतंत्र प्रभात
(अमित कुमार झा)
रजौन/ बांका। कहते हैं मंजिले उन्हीं को मिलती है, जिनके सपनों में जान होती है, पंखों से कुछ नहीं होता, हौसलों से उड़ान होती है। यह पंक्तियां मोजाहिदपुर इंस्पेक्टर सह थानाध्यक्ष राजेश कुमार झा पर सटीक बैठती है।
श्री झा की तैनाती शुरू से ही सबसे अधिक संवेदनशील जिलों में रही। वह जहां भी रहे उन्होंने न केवल अपराध पर अंकुश लगाया, बल्कि कई बड़ी चुनौतियों को स्वीकार कर उनका सामना किया।
श्री झा का बांका टाउन थाना से भी काफी लगाव रहा है। वह यहां लगातार अपनी निष्पक्ष कार्यप्रणाली को लेकर सुर्खियों में रहे। जिस वक्त बांका टाउन थाना में रहे उस वक्त अपराध अपने चरम पर था।
कई कुख्यात अपराधियों को सलाखों के पीछे भेजा। वारदातें ऐसी थी कि काफी खौफ का माहौल पैदा हो गया था। सरकार परेशान थी, तत्काल श्री झा को जिम्मेदारी मिलने के बाद लॉ एंड ऑर्डर की जिम्मेदारी को बखूबी निभाया।
बल्कि कई बड़े अपराधियों को ढ़ेर कर संगठित अपराध की इस यूनिट ने कमर तोड़ दी। श्री झा ने अपने कार्यालय वेशम में विशेष बातचीत के दौरान पत्रकार अमित कुमार झा को बताया कि जब पुलिस में पहला कदम को रखा तो समय के साथ-साथ चुनौतियां भी बढ़ती गई।
फिर चाहे कार्यकाल के दौरान हो या अपराध के प्रति। जिले को अपराध मुक्त करना पहली प्राथमिकता रही। जैसे-जैसे वक्त का पहिया घूमता गया वैसे- वैसे अपराध ने भी अपने पैर पसार लिए। हालांकि श्री झा ने भी अपराध करने वाले अपराधियों को मुंहतोड़ जवाब दिया।
और उनको उनकी जगह पर पहुंचाया। श्री झा ने कई बड़ी संगीन अज्ञात घटनाओं का सफल अनावरण किया और अपराध को पूरी तरह से अंकुश लगाया। इनकी प्रशंसा पूरे प्रमंडल भर में की जा रही है।