कोनिया में आवारा छुट्टा पशुओं से किसान हुये त्रस्त।

कोनिया में आवारा छुट्टा पशुओं से किसान हुये त्रस्त। संतोष तिवारी (रिपोर्टर ) भदोही। एक ओर जहां सरकार किसानों की समस्याओं से बेहद चिंतित है और लगातार किसानों को तरह तरह की सुविधाओं से लाभान्वित करने कारण प्रयास कर रही है। वंही दूसरी ओर किसानों की सबसे बड़ी समस्या आवारा पशुओं की देखने को नजर

कोनिया में आवारा छुट्टा पशुओं से किसान हुये त्रस्त।

संतोष तिवारी (रिपोर्टर )

भदोही।

एक ओर जहां सरकार किसानों की समस्याओं से बेहद चिंतित है और लगातार किसानों को तरह तरह की सुविधाओं से लाभान्वित करने कारण प्रयास कर रही है। वंही दूसरी ओर किसानों की सबसे बड़ी समस्या आवारा पशुओं की देखने को नजर आती है दर्जनो की संख्या में आवारा पशु जिस खेत मे प्रवेश करते है। उसे पूरी तरह नष्ट करने के बाद ही दम लेते है।

ऐसे ही एक नजारा इस वक़्त भदोही जिंले के डीघ ब्लाक के आखिरी छोर कोनिया क्षेत्र में देखने को मिल रहा रहा है कोनिया क्षेत्र में अवारा पशुओं की संख्या इतना अधिक बढ़ गयी है कि पिछले दो तीन साल से किसान अपने खेतों में जुताई बुआई में लग रही पूंजी भी नही निकाल पा रहे है।

आवारा पशुओं से छुटकारा पाने के लिए पिछले दो साल से लगातार आवाज उठा रहे युवाशक्ति संगठन के अध्यक्ष पवन पंडित का कहना है कि कोनिया के किसान लगातार गर्त में जा रहे है, 7 मार्च 2020 को कोनिया क्षेत्र से हजारों लोग पैदल चलकर ज्ञानपुर जिलाधिकारि को इस समस्या के लिए ज्ञापन दिया था

किंतु पांच महीने से भी अधिक का समय गुजर जाने के बाद भी इस समस्या से क्षेत्र के किसानों को आवारा पशुओं से निजात नही मिल पाया जबकि मुख्यमंत्री जी द्वारा पिछले वर्ष 2 जनवरी 2019 को जनपद के सभी जिलाधिकारी को सूचित कर दिया गया था कि 10 जनवरी तक सभी आवारा पशुओं को किसी सुनिश्चित स्थान पर इकट्ठा करे और किसानों की फसलो को बर्बाद होने से बचाये

किन्तु इस आदेश को जारी किए एक साल आठ महीने से अधिक का समय गुजर जाने के बावजूद भी किसानों की फसलो की सुरक्षा नही हो पा रही है। बल्कि किसानों की समस्या लगातार बढ़ती जा रही है कोनिया भदोही के किसान कगार की स्थिति पर है लेकिन अभी तक अधिकारियों की नजर उन पर नही पड़ रही है ।

युवाशक्ति संगठन के अध्यक्ष पवन पंडित इस मामले को पुनः उठाते हुए सासन प्रसासन को चेताया है कि अगर तत्काल आवारा पशुओं के विषय मे कोई ठोस निर्णय नही लिया गया तो कोनिया भदोही के किसान स्वयं कोई बड़ी पहल करके आवारा पशुओं को एकत्रित करेंगे फिर सासन प्रशासन को स्वयं आगे आना पड़ेगा।

एक बैठक में निर्णय लिया गया कि अगर शासन प्रशासन जल्द ही आवारा पशुओं के विषय मे ठोस निर्णय नही लिया गया तो क्षेत्र के किसान किसी बड़ी पहल की शुरूआत करेंगे जिसकी जिम्मेदारी सासन प्रशासन की होगी। बैठक में उपस्थित विक्रम सिंह बघेल, अजित चौबे, अंकित सिंह, श्रीनिवास पाण्डेय, नितेश सिंह, महावीर तिवारी, प्रमोद सिंह विक्की पुष्पाकर आदि लोग मौजूद रहे ।

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