सीतामढ़ी मंदिर पर कृष्ण जन्माष्टमी के अवसर पर संकीर्तन का हुआ आयोजन।

सीतामढ़ी मंदिर पर कृष्ण जन्माष्टमी के अवसर पर संकीर्तन का हुआ आयोजन। संतोष तिवारी (रिपोर्टर ) भदोही। श्री हनुमान शाखा पर कृष्ण जन्माष्टमी के अवसर पर श्री मारुति सेवा संस्थान सीतामढ़ी में कृष्णा संकीर्तन का आयोजन किया गया। श्री मारुति सेवा संस्थान के शास्त्री हनुमान जी ने बताया कि कृष्ण जन्माष्टमी को बड़े ही हर्षोल्लास

सीतामढ़ी मंदिर पर कृष्ण जन्माष्टमी के अवसर पर संकीर्तन का हुआ आयोजन।

संतोष तिवारी (रिपोर्टर )

भदोही।

श्री हनुमान शाखा पर कृष्ण जन्माष्टमी के अवसर पर श्री मारुति सेवा संस्थान सीतामढ़ी में कृष्णा संकीर्तन का आयोजन किया गया। श्री मारुति सेवा संस्थान के शास्त्री हनुमान जी ने बताया कि कृष्ण जन्माष्टमी को बड़े ही हर्षोल्लास के साथ मनाया जाता था। लेकिन कोरोना वायरस के प्रकोप को देखते हुए इस वर्ष साधारण तौर पर कृष्ण जन्माष्टमी मनाया जा रहा है।

और यहां पर सोशल डिस्टेंसिंग को बनाकर कृष्ण जन्माष्टमी मनाई गई। जिसमें आज मटकी भी फोडी गई। श्री मारुति सेवा संस्थान में सुबह और शाम शास्त्री हनुमान जी महाराज के द्वारा सत्संग एवं व्यायाम सूर्य नमस्कार व शरीर को स्वस्थ रखने के उपायों के बारे में लोगों को प्रशिक्षित किया जाता है।

और यहां पर लोक हितार्थ सुंदरकांड पाठ एवं हवन पूजन शास्त्री हनुमान जी के द्वारा किया जाता है। और शास्त्री हनुमान जी ने कहा कि जगत के पालनहार भगवान विष्णु ने श्री कृष्ण के रूप में धरती पर अवतरित होकर जो मानव लीला की है। उससे मिला संदेश जीवन को सफल बनाने में काफी कारगर है। और उन्होंने कहा कि नित्य मंदिर में आरती की प्रक्रिया चल रही है।

और भाद्र पक्ष की अष्टमी को जन्माष्टमी का त्योहार मनाया जाता है इसी तिथि पर मध्य रात्रि में भगवान श्री कृष्ण का जन्म हुआ था। श्री कृष्ण का जन्म किसी महल में नहीं बल्कि जेल में हुआ था। उनका लालन-पालन भी उनके माता पिता ने नहीं किया था। कृष्ण जन्म होते ही कई चमत्कार भी हुए थे। जिससे जेल से गोकुल पहुंच गए थे।

Tags:

About The Author

Post Comment

Comment List

आपका शहर

अंतर्राष्ट्रीय

Online Channel