भाजपा उड़ा रही है हिन्दू धर्म की धज्जियां-धर्मेन्द्र कुमार मिश्र ।

भाजपा उड़ा रही है हिन्दू धर्म की धज्जियां-धर्मेन्द्र कुमार मिश्र । संतोष तिवारी (रिपोर्टर ) भदोही। समाजवादी पार्टी के पुर्व मिडिया प्रभारी धर्मेन्द्र कुमार मिश्र पप्पू ने अयोध्या भूमि पूजन को लेकर बडा बयान दिया। धर्मेन्द्र कुमार मिश्र ने कहा कि हिन्दू धर्म में मान्यता है कि यदि अर्धांगिनी जीवित है तो बिना अर्धांगिनी को

भाजपा उड़ा रही है हिन्दू धर्म की धज्जियां-धर्मेन्द्र कुमार मिश्र ।

संतोष तिवारी (रिपोर्टर )

भदोही।

समाजवादी पार्टी के पुर्व मिडिया प्रभारी धर्मेन्द्र कुमार मिश्र पप्पू ने अयोध्या भूमि पूजन को लेकर बडा बयान दिया। धर्मेन्द्र कुमार मिश्र ने कहा कि हिन्दू धर्म में मान्यता है कि यदि अर्धांगिनी जीवित है तो बिना अर्धांगिनी को साथ में लिए कोई शुभ कार्य नहीं किया जा सकता लेकिन 5 अगस्त को मर्यादा पुरुषोत्तम भगवान श्री राम का भव्य मंदिर उनकी जन्म भूमि अयोध्या में बनने जा रहा है

जिसकी आधारशिला हमारे देश के प्रधानमंत्री आदरणीय नरेंद्र भाई मोदी जी रखेंगे और उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री आदरणीय योगी आदित्यनाथ जी के साथ साथ राष्ट्रीय स्वय् सेवक संघ के प्रमुख मोहन भागवत जी भी आधारशिला रखने में भागीदारी करेंगे। हम भी भगवान राम के पुजारी हैं हमारी भी आस्था मंदिर निर्माण में है लेकिन प्रश्न यह है कि क्या हिन्दु धर्म के विधि विधान के अनुसार जो अतिथि गण आधारशिला रख रहे हैं

उन्हें मान्यता है या नहीं हम आपको हिन्दू धर्म के अतीत में ले चलना चाहते हैं और मर्यादा पुरुषोत्तम भगवान श्री राम के आदर्शों को याद दिलाना चाहते हैं कि जब मर्यादा पुरुषोत्तम भगवान श्री राम रामेश्वरम् में शिवलिंग की स्थापना कर रहे थे उस समय यह प्रश्न उठा था कि शिवलिंग की स्थापना किसी प्रकांड विद्वान ब्राह्मण से कराया जाए तो उस समय लंकापति रावण सर्वश्रेष्ठ विद्वान ब्राह्मण का नाम आया था

और भगवान श्रीराम ने लंकापति रावण को आमंत्रित कर शिवलिंग की स्थापना कराने की आरजु किया था स्थापना के समय महान विद्वान पंडित लंकापति रावण ने भगवान श्रीराम से कहा कि यदि आपकी अर्धांगिनी है तो बिना अर्धांगिनी के साथ लिए शिवलिंग की स्थापना नहीं हो सकती यह स्थापना अधूरी मानी जाएगी उस समय मर्यादा पुरुषोत्तम श्री राम ने माया रूपी सीता को प्रकट कर भगवान शिव के लिंग की स्थापना रामेश्वरम् में किया था।

दूसरी मान्यता यह है कि भगवान श्रीराम ने माता सीता को किसी ताने को लेकर घर से निकाल दिया था और माता सीता बनवास को चली गई थी ऋषियो महर्षियो द्वारा अश्वमेध यज्ञ के लिए भगवान राम से कहा भगवान राम ने जब अश्वमेध यज्ञ की पूजा शुरू किया तब भी यह प्रश्न उठा था कि बिना अर्धांगिनी के यज्ञ नहीं हो सकता उस समय भगवान राम ने प्रतिकार स्वरूप माता सीता की मूर्ति बनवाकर अश्वमेध यज्ञ की थी।

मान्यता यह भी है की भादो मास में कोई शुभ कार्य नहीं किया जाता लेकिन इस देश का और हिन्दू धर्म का इतना बड़ा दुर्भाग्य है कि आज हिन्दू धर्म के नाम पर और हिन्दुत्व के नाम और भगवान श्री राम के नाम पर जो देश और प्रदेश की सत्ता में बैठे हैं और हिन्दू धर्म की दुहाई देते हैं वही लोग आज मर्यादा पुरुषोत्तम भगवान श्री राम के आदर्शो का अनुसरण न करके हिन्दू धर्म का पालन न करके हिन्दू धर्म की धज्जियां उड़ा रहे हैं और अपने आप को हिन्दू धर्म का सबसे बड़ा अनुयायी बता रहे हैं और सर्वश्रेष्ठ हिन्दू बनने का दावा कर रहे हैं क्या यह सच है।

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