संजीव-नी।

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देशभक्ति का जज्बा।
 
देश में आतंकवादियों
के हमले से हुए 
शहीदों की शहादत पर
बाकी बचे हुए
अस्पताल में पड़े हताहत पर।
 
एक भिखारी ने 
दिया खुलकर दान
बढ़ा दी मानवता की आन
और बढ़ा दी भिखारियों की शान।
 
भिखारी की इस 
देश भक्ति और मातृ भक्ति
को बड़े आश्चर्य से देख
एक नामचीन नेता जी ने
बदल कर अपना भेष।
 
मुस्कुराकर भिखारी से पूछा
लगता है आपमें है
देश भक्ति का जबरदस्त
जज्बा और अभिमान
तब ही आपने
अपना सर्वस्व किया है दान।
 
भिकारी मुस्कुराया खिल-खिलाया
बोला
देशभक्ति का है जज्बा जबरदस्त
देशभक्ति में हो गया हूं मैं मस्त
मेरी आर्थिक हालत है पस्त।
 
अब मैं शहर का सबसे 
पढ़ा लिखा 
बड़ा भिखारी बन गया हूं
मांग मांग कर पेट भर लेता हूं।
 
वरना मैं कोई भ्रष्ट 
राजनेता होता
या कोई बदनाम 
सरकारी अधिकारी होता।
 
तब दान देने वालों की नहीं
दान लेने वालों की लंबी
कतार में
याचक की तरह खड़ा होता।
और बेशर्मों की तरह
दांत दिखा दिखा कर
कभी वोटों की और कभी पैसों के
दान की भीख मांग रहा होता।
 
संजीव ठाकुर

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