आरटीओ में क्यों जरूरी हैं दलाल, कितनी परेशानी आती है लोगों को
कहने को तो किसी सरकारी कार्य में दलाली ग़लत है लेकिन लोगों की मजबूरी है जो कि अपना कार्य दलालों के माध्यम से कराते हैं।
On
कानपुर।
अभी हाल ही में कानपुर नगर आरटीओ कार्यालय में पुलिस ने लगभग एक दर्जन दलालों को पकड़ा था। और पहले भी यह कई बार हो चुका है। आरटीओ में दलाली खत्म करने के जितने प्रयास किए जा रहे हैं वह सब व्यर्थ हैं। जब व्यक्ति आन लाइन या आरटीओ आफिस के चक्कर काटकर थक जाता है तब दलालों से काम करवाना उसकी मजबूरी हो जाती है। और कुछ रुपयों के काम के लिए हजारों रुपए खर्च करने पड़ते हैं।
भले ही केन्द्र सरकार ने डीएल और अन्य कामों को आनलाइन करके सरल बनाने की कोशिश की है लेकिन अभी भी वह सरल नहीं है। पहली बात तो किसी का काम एक बार में आनलाइन हो जाए तो वह अपने आप को बहुत ही बड़ा भाग्यशाली समझे। यदि घर पर मोबाइल या लैपटॉप से आनलाइन डीएल बनाने में उससे कोई भी त्रुटि हो गई तो फिर बिना आरटीओ आफिस जाए काम नहीं चलता। आफिस का हाल यह है कि अधिकारी यदि एक घंटा भी अपनी सीट पर लगातार बैठ जाए तो बहुत बड़ी बात है।
एक हस्ताक्षर कराने के लिए आदमी को कइयों दिन आरटीओ कार्यालय के चक्कर काटने पड़ते हैं। कानपुर महानगर लगभग 50 किलोमीटर के एरिया में फ़ैला हुआ है और किसी के पास इतना समय नहीं होता कि वह पूरे पूरे दिन चार दिन तक आरटीओ के चक्कर काट सके। और यहीं पर दलालों का खेल शुरू होता है 250/300 रुपए के काम के लिए 3-4 हजार रुपए व्यक्ति को खर्च करने पड़ते हैं। आरटीओ आफिस में कोई ऐसा जिम्मेदार नहीं होता जो यह बता सके कि यह काम कहां होगा। और यदि पता चल भी गया तो फिर अधिकारियों का इंतजार करो। अधिकारी कभी चैकिंग पर निकल जाते हैं, कभी मीटिंग में व्यस्त होते हैं तो बस आप उसका इंतजार करिए।
काम बहुत टेढ़ा है जब कि सरकार इसको सरल बताती है। आनलाइन प्रक्रिया में अभी भारत जैसे देश की आधी आबादी भी माहिर नहीं है। आरटीओ कार्यालय में किसी एक अधिकारी के न होने पर उस कार्य की अथारिटी किसी के पास नहीं होती। यदि होती भी है तो वह कार्य से बचना चाहते हैं। सीधी प्रकिया नही है कि एक फार्म भर कर दे दिया और वह अपने आप आफिस में एक के बाद एक के पास पहुंचता रहा और एक हफ्ते या 15 दिन में व्यक्ति का डीएल बन कर आ गया। और इसी पेचीदगियों का फायदा दलाल उड़ाते हैं और लोगों को मजबूरन दलालों से कार्य करता पड़ता है। क्या सरकार या अधिकारी इस विषय पर सोचेंगे कि आखिर क्यों व्यक्ति दलालों के चक्कर में पड़ता है।
About The Author
Related Posts
Post Comment
आपका शहर
लैंड फॉर जॉब में तेजस्वी, तेजप्रताप और लालू यादव तीनों को जमानत मिली।
08 Oct 2024 16:57:52
नई दिल्ली। जेपी सिंह। लैंड फॉर जॉब मामले में राउज एवेन्यू कोर्ट ने राजद प्रमुख लालू प्रसाद यादव और उनके...
अंतर्राष्ट्रीय
उत्तर कोरिया के किम ने फिर से अमेरिका और दक्षिण कोरिया के खिलाफ परमाणु हमले की धमकी दी
09 Oct 2024 17:32:20
International News उत्तर कोरिया के नेता किम जोंग उन ने एक बार फिर चेतावनी दी है कि वह दक्षिण कोरिया...
Comment List